जन मुद्दों पर अपना रुख साफ करें सभी दल – दिनकर कपूर
● भाजपा की झोली जनता के लिए खाली
● एजेंडा लोकसभा चुनाव पर बभनी के विभिन्न गांवों में हुआ संवाद
सोनभद्र ब्यूरो चीफ दिनेश उपाध्याय-(ओबरा/सोनभद्र/उत्तर प्रदेश)–डिजिटल भारत न्यूज टुडे नेटवर्क 24×7 LIVE
सोनभद्र। रोजगार,जमीन,शिक्षा,स्वास्थ्य,शुद्ध पेयजल और पर्यावरण की रक्षा जैसे जनता के जीवन से जुड़े हुए ज्वलंत मुद्दों पर सभी दलों को अपना रुख साफ करना चाहिए। भारतीय जनता पार्टी का संकल्प पत्र,मोदी की गारंटी जन मुद्दों पर मौन है। दरअसल बड़े पूंजी घरानों की सेवा में लगी मोदी सरकार की झोली जनता के लिए आज खाली हो गई है। ऐसी स्थिति समाज को बांटने और मैत्री भाव को नष्ट करने में ही भारतीय जनता पार्टी की पूरी ताकत लगी हुई है। इसलिए इस चुनाव में जन मुद्दों को उठाना बेहद जरूरी है, ताकि चुनाव के बाद यह सवाल हल हो और जनता का कल्याण हो। यह बातें बभनी ब्लाक के विभिन्न गांवों में आयोजित जनसंपर्क व संवाद में शनिवार को ऑल इंडिया पीपुल्स फ्रंट के प्रदेश महासचिव दिनकर कपूर ने कहीं।उन्होंने कहा कि दुध्दी में बड़े पैमाने पर पलायन हो रहा है,लोगों के रोजगार का सवाल हल नहीं किया गया।मनरेगा ठप पड़ी हुई है। दो-दो बार मुख्यमंत्री योगी ने आकर वनाधिकार में जमीन का आवंटन करने की बात की, लेकिन वह नहीं हुआ। शिक्षा की हालत यह है कि अधिकांश विद्यालय शिक्षामित्रों के बदौलत चल रहे हैं और सरकारी डिग्री कॉलेज व इंटर कॉलेज बेहद कम है।
पोखरा का सरकारी डीग्री कालेज सालों से बंद पड़ा हुआ है।सरकारी अस्पताल मात्र रेफर करने के केंद्र बने हुए हैं।उनमें बुनियादी सुविधाओं का अभाव है।यहां की नदी,पहाड़, जंगल,विकास मद सब कुछ को लूट लिया गया है। हवा और पानी जहरीला हो गया है। अभी भी लोग चुआड़,नालों,बांध और कच्चे कुओं का पानी पीने को मजबूर है। लंबे आंदोलन के बाद जो आरओ प्लांट और वाटर फिल्टर लगाए गए थे वह ज्यादातर खराब पड़े हुए हैं और शुध्द पेयजल नसीब नहीं है। इसलिए दुध्दी के विकास का सवाल इस चुनाव का अहम मुद्दा है और सभी राजनीतिक दलों को इस पर अपनी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए।युवा मंच के संयोजक राजेश सचान ने कहा कि दुध्दी में रोजगार की अपार संभावनाएं हैं। यदि यहां कनहर बांध बनाकर सिंचाई की व्यवस्था की जाए,जैविक अरहर के लिए सरकारी उद्योग लगाए जाए।फ्लाई एश से ईट बनाने के कल कारखाने लगाए जाएं,खनन को स्थानीय निवासियों की सहकारी समिति को देकर बिना मशीनों की जगह मैनुअल कराया जाए और ग्रामीण स्तर पर मनरेगा को मजबूत करते हुए 200 दिन काम की गारंटी की जाए तो बहुत बड़े पैमाने पर यहां पलायन को रोका जा सकता है। लेकिन इसे करने को सरकारें तैयार नहीं है। आईपीएफ की टीम ने घघरा,चैना,बभनी,रनदह, आसनडीह,बाजिया,परसाटोला,एकदिरी, धनखोर,बैना,कोगा,पोखरा आदि गांवों में संवाद किया।संवाद में आइपीएफ के जिला सचिव इंद्रदेव खरवार,देव कुमार खरवार,पूर्व प्रधान संजय गुप्ता,रामविचार गोंड,देवरूप खरवार,जवाहर खरवार,रामदेव गोंड,मोहर लाल गोंड,रामजीत खरवार,संतोष खरवार आदि लोग शामिल रहे।